कार्तिक मास हिन्दू धर्म में बहुत महत्वपूर्ण है। इस महीने में बहुत सारे पवित्र काम और नियमों का पालन करना चाहिए। यह महीना धार्मिक आस्था का प्रतीक है और इस दौरान किए गए कामों का फल भी बहुत मिलता है। अगर आप पूरे महीने सुबह स्नान नहीं कर पाए, तो चिंता मत कीजिए! कार्तिक मास के आखिरी तीन दिनों त्रयोदशी, चतुर्दशी और पूर्णिमा में कुछ खास काम करके आप पूरे महीने के पुण्य के बराबर पुण्य पा सकते हैं।

दरअसल, कार्तिक मास में सूर्योदय से पहले स्नान करना बहुत जरूरी है। जो लोग सूर्योदय के बाद स्नान करते हैं, वे अपना पुण्य कम करते हैं। लेकिन सूर्योदय से पहले स्नान करने से सारे पाप खत्म हो जाते हैं। इसलिए पुराने समय से ही इस परंपरा का पालन होता आ रहा है। इस पवित्र समय में नहाने से मन में शांति और सकारात्मकता आती है।

भगवान ब्रह्मा जी के अनुसार, कार्तिक मास में सूर्योदय से पहले स्नान करने से बहुत पुण्य मिलता है। अगर आप त्रयोदशी, चतुर्दशी और पूर्णिमा को 'ॐकार' का जाप करते हुए सुबह सूर्योदय से पहले स्नान करेंगे, तो आपको पूरे कार्तिक मास का पुण्य मिल जाएगा। मतलब सिर्फ तीन दिनों में आप पूरे महीने का लाभ उठा सकते हैं।

इन तीन दिनों में कुछ महत्वपूर्ण काम जरूर करने चाहिए। सबसे पहले तो सूर्योदय से पहले स्नान करें और फिर 'ॐकार' का जाप करें। इससे आपको मानसिक शांति मिलेगी और जीवन में सकारात्मक बदलाव आएंगे। सुबह के समय तुलसी का दर्शन करना भी सारे पापों को खत्म करता है। तुलसी की पूजा होती है और इसे बहुत पवित्र माना जाता है। इसे घर में लगाना और इसकी देखभाल करना भी पुण्य का काम है।

इस समय दान और पूजा करना बहुत शुभ माना जाता है। जो लोग इस महीने में दान करते हैं, उन्हें विशेष लाभ मिलता है। इस कार्तिक मास में केवल तीन दिनों के लिए इन सरल कार्यों को करके आप अपने जीवन को धन्य बना सकते हैं। बता दें कि कार्तिक मास में किए गए कार्यों का फल कई गुना बढ़ जाता है, इसलिए इस मौके का फायदा उठाना न भूलें।