बिहार चुनाव से पहले मुसलमानों ने पीएम मोदी को दिया 'दिल' से समर्थन, अब क्या करेगी आरजेडी और कांग्रेस?
Bihar Chunav 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से ईद के मौके पर 32 लाख गरीब मुस्लिम परिवारों को 'सौगात-ए-मोदी' के तहत किट दी जा रही है। भागलपुर के सज्जादानशीं सैयद शाह फखरे आलम हसन ने इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि मुसलमानों को करीब लाने की यह स्वागत योग्य पहल है।;
बिहार समेत पूरे देश में भारतीय जनता पार्टी (BJP) 'सौगात-ए-मोदी' नाम से एक अभियान चला रही है। इसके तहत देश के मुस्लिम परिवारों को मोदी किट दी जा रही है। बिहार के भागलपुर जिले के मुसलमानों सहित देशभर के मुस्लिम समुदाय के लोग इस पहल के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रशंसा कर रहे हैं। खानकाह-ए-पीर दमड़िया शाह के सैयद शाह फखरे आलम हसन ने कहा कि मुसलमानों के बिना भारत को विश्व गुरु बनाने की कल्पना अधूरी है। ईद के मौके पर पीएम मोदी की इस पहल का स्वागत किया जाना चाहिए। भाजपा इस अभियान के जरिए मुस्लिम समुदाय के बीच अपनी पैठ बढ़ाना चाहती है।
'सौगात-ए-मोदी' अभियान को लेकर मुस्लिम समुदाय में सकारात्मक प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है। खानकाह-ए-पीर दमड़िया शाह के 15वें सज्जादानशीं सैयद शाह फखरे आलम हसन ने कहा कि मुसलमानों को साथ लिए बिना विश्व गुरु बनने का सपना पूरा नहीं हो सकता।
सैयद शाह फखरे आलम हसन ने कहा कि ईद के मुबारक मौके पर पीएम मोदी की तरफ से 'सौगात-ए-मोदी' के नाम से 32 लाख गरीब परिवारों को किट दिया जा रहा है। इस पहल से मुसलमानों को करीब लाने की जो पहल प्रधानमंत्री ने की है, वह स्वागत योग्य है।
सज्जादानशीं ने आगे कहा कि पीएम मोदी तक अगर मेरा पैगाम पहुंचता है, तो मैं उनसे गुजारिश करना चाहूंगा कि मुस्लिम समाज के लोगों को साथ लिए बगैर और उनका विश्वास जीते बिना विश्व गुरु का सपना साकार नहीं हो सकता है। इसलिए 'सौगात-ए-मोदी' के नाम पर जो सकारात्मक पहल प्रधानमंत्री की है, उसकी तारीफ होनी चाहिए।
उन्होंने यह भी कहा कि 'सौगात-ए-मोदी' अभियान की सफलता के लिए भाजपा सरकार में मुसलमानों का प्रतिनिधित्व होना जरूरी है। उन्होंने पीएम मोदी से सैयद शाहनवाज हुसैन को राज्यसभा के रास्ते केंद्रीय मंत्रिमंडल में शामिल करने की अपील की। उनके अनुसार, यह मुसलमानों को करीब लाने का एक महत्वपूर्ण कदम होगा।
दरअसल, 'सौगात-ए-मोदी' अभियान भाजपा द्वारा शुरू किया गया है। इसका लक्ष्य मुस्लिम समुदाय के बीच कल्याणकारी योजनाओं को बढ़ावा देना है। साथ ही, भाजपा और एनडीए के लिए राजनीतिक समर्थन जुटाना भी इसका उद्देश्य है। यह अभियान रमजान और ईद जैसे त्योहारों पर केंद्रित है, इसलिए यह और भी खास है। भाजपा ने इस अभियान के तहत 32 लाख मुस्लिम परिवारों तक पहुंचने और तीन हजार मस्जिदों के साथ सहयोग करने की योजना बनाई है।
इस अभियान के जरिए भाजपा मुस्लिम समुदाय के लोगों के साथ जुड़ने की कोशिश कर रही है। 'सौगात-ए-मोदी' के तहत दिए जा रहे किट में रोजमर्रा की जरूरत की चीजें शामिल हैं। इससे गरीब मुस्लिम परिवारों को मदद मिलेगी। भाजपा का मानना है कि इस तरह की पहलों से मुस्लिम समुदाय के साथ उनका रिश्ता मजबूत होगा।
यह देखना दिलचस्प होगा कि 'सौगात-ए-मोदी' अभियान भाजपा को मुस्लिम समुदाय के बीच कितना समर्थन दिला पाता है। फिलहाल, इस पहल को लेकर मुस्लिम समुदाय के कुछ लोगों में सकारात्मक प्रतिक्रिया देखने को मिल रही है। माना जा रहा है कि इससे आरजेडी और कांग्रेस का टेंशन बढ़ सकता है।